श्री
इतना बता दो, कान्हा मेरे,कब ऐसा शुभ दिन होगा
नाम है जिनका लाल निरंजन ,उनका भजनोत्सव होगा
कान हमारे तरस गए हैं,मीठी धुन वो सुनने को
मीठे मीठे भजनों की गंगा में डुबकी लगाने को
उनके भजनों को सुन सुनकर, आनन्द ही आनन्द होगा
नाम है जिनका.......
अब तो ऐसी कृपा हो कान्हा, रोज़ तेरे दर पर आएं
लाल निरंजन नए नए भजनों की माला पहनाएं
भक्त वत्सल तूं,भक्तों के हित,इतना तो करना होगा
नाम है जिनका......
कब ऐसा पावन दिन होगा,कीर्तन तेरा करवाएं
लाल निरंजन के संग हरि, पुष्पा भी गुण तेरे गाएं
सच ये बता दे ,भक्त को सुनने, तूं भी तरसता तो होगा
नाम है जिनका.....
No comments:
Post a Comment