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म्हारो लालो जी नखराळो रे...Mharo laali ji nkhralo...(krishna bhajan)

                    श्री
म्हारो लालो जी,नखराळो रे,ऊबो जमुना के तीर
ठाढ़ो,जळ जमुना के तीर
तुं जमुना बड़ भागणी ऐ, निरमल थारो नीर
पणिहारी पाणी भरे जी कोई,ओढ़ण दिखणी रो चीर
भलां जी मैं तो निरख,निरख कर हारी रे,ऊबो....
तुं जमुना ऊंची घणी ऐ, म्हांसूं चढ़यो न जाय
कह दीज्यो म्हारै श्याम ने, म्हांने गोदी कर ले जाय
भलां जी मनुहारां कर कर हारी रे,ऊबो......
मैं कान्हा तने,बरजियो रे,बरसाणे मत जाय
बरसाणे री गोपियाँ,थाने राखेली भरमाय
भलां जी मैं तो बरज,बरज कर हारी रे,ऊबो....
चन्द्रसखी की बिनती जी,सुण ज्यो ध्यान लगाय
दो दरशण म्हारा साँवरा जी,कोई बृजमण्डल में आय
भलां जी मैं तो रस्तो देखर हारी रे,ऊबो....

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